हम याद रहे तो ठीक वर्ना #भुला देना
हुई हो अगर खता हमसे तो #सजा देना।
वैसे तो हम #कोरे_कागज़ की तरह है.,
लिखा जाए तो ठीक वर्ना #जला ♨ देना।।
Tag: saza
Saza
जिसकी सजा सिर्फ तुम हो
मुझे कोई ऐसा गुनाह करना है
Insaaf
मुंसिफ़ हो अगर तुम तो कब इन्साफ़ करोगे
मुजरिम हैं अगर हम तो सज़ा क्यूँ नहीं देते